कछवां। पितृ विसर्जन कल, जलाशयों की सफाई व्यवस्था ध्वस्त
कछवां। आदर्श नगर पंचायत क्षेत्र में स्थित दशमीवां पोखरा समेत विकासखंड क्षेत्र के जलाशय एवं गंगा नदी के समीप बुधवार को पितृ विसर्जन किया जाएगा। जिसको लेकर तालाबों व गंगा नदी के समीप साफ सफाई की व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त है। वही पितृ विसर्जन के दिन भारी संख्या में लोग अपने पितरों को श्राद्ध देने के लिए जुटते हैं।
साफ सफाई की व्यवस्था ना होने पर लोगों ने नाराजगी व्यक्त किया। पितृ विसर्जन के दिन प्रातः काल से ही पूर्वजों को श्राद्ध देने के लिए भारी भीड़ उमड़ती है। जहां लोग स्नान करके अपने पितरों को विधि विधान पूर्वक से श्राद्ध देते हैं। पितरों के मन मुताबिक श्राद्ध में चढ़ावा भी कर पिंडदान करते हैं।
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श्राद्ध कर्म में पूरी श्रद्धा से ब्राह्मणों को तो दान दिया ही जाता है साथ ही यदि किसी गरीब, जरूरतमंद की सहायता भी आप कर सकें तो बहुत पुण्य मिलता है। इसके साथ-साथ पितृ पक्ष के दिनों में गाय, कुत्ते, कौवे आदि पशु-पक्षियों के लिए भी लोग भोजन का एक अंश जरूर निकालते है।
वही विद्वान पंडित आशीष उपाध्याय ने बताया कि इस तिथि को समस्त पितरों का विसर्जन होता है। जिन पितरों की पुण्यतिथि अपने परिजनों को ज्ञात नहीं होता है या किसी कारणवश जिनका श्राद्ध तर्पण पृथ्वी पक्ष के 15 दिनों में नहीं हो पाता है वह उनका श्राद्ध तर्पण दान इसी पितृ विसर्जन के दिन करते हैं।
तर्पण करने से समस्त ब्रह्मांड का भी कल्याण होता है। बिना कुश पहने केवल हाथ से तर्पण नहीं करना चाहिए। कहा कि पूजा के पश्चात जल से तर्पण करें। इसके बाद जो भोग लगाया जा रहा है उसमें से गाय, कुत्ते, कौवे आदि का हिस्सा अलग कर देना चाहिए। इन्हें भोजन डालते समय अपने पितरों का स्मरण करना चाहिए और मन ही मन उनसे श्राद्ध ग्रहण करने का निवेदन करना चाहिए।
कछवां से शिवम मोदनवाल की रिपोर्ट
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