मिर्जापुर : लोहंदी मार्ग का सफर बना नारकीय, नगर पालिका बना मूक दर्शक
मिर्जापुर। नगर का हिस्सा होने के बावजूद लोहंदी मार्ग नारकीय डगर में तब्दील होकर रह गया है। कार्यदायी संस्था के द्वारा कहने को सीवर लाइन डाला गया है, जो केवल कागजी घोड़ा साबित हो रहा है।
सड़क पर बरसात में लगा पानी लोगों के सफर को नारकीय बना रहा है। यह हाल तब हैं जब सावन माह में प्रत्येक मंगलवार और शनिवार को लगने वाले मेले में हजारों की संख्या में भक्त गण आते हैं।
- Advertisement -
मेले में आने वाले भक्तों को खोदे गए उबड़ खाबड़ कीचड़ युक्त मार्ग से आवागमन करना पड़ रहा है। लोहंदी महावीर के मन्दिर पर जाने वाले भक्तों को कीचड़ से अपने पैर को सराबोर करने के बाद ही जाना पड़ता हैं। यह गाँव में जाने का मार्ग हैं, लेकिन नगर पालिका परिषद के क्षेत्र में होने के बावजूद दशा ग्रामीण सड़क से भी बदतर है।
मजाल है कोई इस मार्ग से हवाई चप्पल पहन कर निकल जाए। कुछ कदम आगे बढ़ने पर कीचड़ में फंसकर चप्पल खुद ही उतर कर कीचड़ के बीच फंस कर रह जाता हैं। लिहाजा चप्पल को तलाशने के लिए लोगों को कीचड़ में हाथ डालकर तलाशना पड़ता है।
इसी मार्ग पर सपा के पूर्व मंत्री कैलाश चौरसिया का आवास भी हैं।
प्राचीन मन्दिर के मार्ग की दुर्दशा तब हैं,जब धार्मिक स्थलों के सौंदर्यीकरण के लिए सरकार प्रयास कर रही हैं। इस मार्ग पर घनघनी आबादी के सही कई विद्यालय स्थित है, इसके बाद भी सड़क की दुर्दशा चिंता का विषय और जन प्रतिनिधियों के लिए चुनौती बना हैं।
स्थानीय निवासी राम बाबू गुप्ता ने नगर पालिका परिषद की उदासीनता पर आश्चर्य जताया। कहा कि सावन का मेला आरम्भ होने के बावजूद भी कोई कार्य नहीं किया गया। भक्तों के साथ ही स्थानीय नागरिकों का जीवन नारकीय बना दिया गया है।
निखिल केशरवानी ने कहा कि जल जमाव के कारण लोगों को मच्छरों का दंश झेलना पड़ रहा है। मोहल्ले के दिनेश उपाध्याय, अनिल बरनवाल, विनोद बरनवाल, संजय यादव एवं हर्ष सेठ ने समस्याओं से निजात दिलाने की मांग जिलाधिकारी से की हैं।
Rajan Gupta
Editor in chief
“Today MZP News“