डेंगू जांच के लिए विभाग ने तय किया रेट 600 रूपया से अधिक लेने पर होगी कार्यवाही – सीएमओ
विभाग की ओर से मरीजों को दिया जा रहा है मच्छरदानी, रैपिंड टेस्ट किट
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मिर्जापुर
स्वास्थ्य विभाग ने गुरूवार को जिले में डेंगू की बीमारी बढ़ने से रोकने के लिए विभाग की ओर से तरह-तरह के उपाय किये जाते रहे है विभाग की ओर डेगू की जांच के लिए अब 600 रूपये निर्धारित कर दिये गये है। इस आशय की जानकारी मुख्य चिकित्साधिकारी डाॅक्टर सी0एल0वर्मा ने दी। शासन से जिले में डेंगू व मलेरिया से ग्रसित क्षेत्रों में 85000 मच्छरदानी देने के लिए और 50000 रैपिड टेस्ट किट मिली है।
अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ लालजी गौतम ने बताया कि डेंगू केवल जागरूकता से ही खत्म किया जा सकता है। जिन इलाकों में मलेरिया और डेंगू के मरीज मिल रहे हैं वहां मुफ़्त वितरण के लिए 85000 मछरदानी प्राप्त हो चुकी हैं। साथ ही 50000 रैपिड किट भी प्राप्त हो चुकी है। उपर्युक्त सामग्री मण्डलीय चिकित्सालयए सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र व प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों के अलावा आशाओं को दिया जा चुका है। डेंगू के उपचार के लिए मण्डलीय चिकित्सालय में 10 बेड का एक वार्ड व सामुदायिक केन्द्रों व प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर चार.चार बेड का एक.एक वार्ड बनाया गया है। फांगिग को लेकर शासन स्तर से नगरपालिका को जिम्मेदारी सौंपी गई है। 1 अप्रैल से अब तक डेंगू के 79 संभावित मरीज मिले । इसके अलावा अब विभाग की ओर से डेगू जांच के लिए 600 रूपये निर्धारित कर दिया गया है। इससे अधिक पैसा वसूलने पर विभाग की ओर से कार्यवाही की जायेगी।
डॉ लालजी गौतम ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग की टीम शहरी व ग्रामीण इलाकों में जागरूकता कार्यक्रम कर रही है। जिले के 804 ग्राम पंचायतों में आशा और प्रधान के समन्वय से एंटीलार्वा का छिड़काव किया जा रहा है। जनपद के सभी सामुदायिक ध् प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर डेंगू की निःशुल्क जांच हो रही है। साथ ही केंद्रों पर डेंगू की दवा भी उपलब्ध है। जो हर मरीज के लिए निःशुल्क है। जनपद में अप्रैल से लेकर नवम्बर माह तक डेंगू के 79 मरीज मिले हैं।
जिला मलेरिया अधिकारी डा0 संजय द्विवेदी ने बताया कि डेंगू का मच्छर दिन में काटता है।
रोग के लक्षण
1 तेज बुखार, बदन, सर, जोड़ों एवं मांसपेशियों में दर्द
2 शरीर का त्वचा पर चकत्ते या लाल दाने निकल जाते है
3 आंखों के पीछे दर्द तथा आंखों को घुमाने पर तेज दर्द होता है
4 जी मिचलना, उल्टी दस्त तथा पेट में दर्द
5 प्लेटलेट्स की संख्या का कम होना
6 डायबिटीज, रीनल फेल्योर, श्वसन रोगी, किडनी रोगी तथा कम प्रतिरोध क्षमता वाले व्यक्ति में यह रोग गम्भीर हो सकता है एवं रोगी की मृत्यु भी हो सकती है
बचाव के उपायः.
1 घरों में काफी दिनों तक रखे पानी को दो दिन पर बदल देना चाहिए
2 पूरे शरीर को ढकने वाले कपड़े को ही पहने
3 उपयोगी पानी को हमेशा ढंग कर रखना चाहिए
4 घर के अगल बगल हमेशा नीम के पत्ती का धुआ हमेशा करते रहना चाहिए
5 जिन स्थानों पर पानी इकठ्ठा हो उसे मिट्टी से पाट देना चाहिए
6 रोगी को हमेशा डाक्टरों की सलाह से ही दवा को लेना चाहिए
ओम शंकर गिरी (पप्पू) की रिपोर्ट
” Today MZP News “